बाल बाल बचे: यहां 100 की स्पीड से चल रही बस में ड्राइवर हो गया बेहोश। ऐसे बची सबकी जान..
हल्द्वानी: सोमवार की दोपहर को बड़ा हादसा होने से टल गया. हल्द्वानी से दिल्ली को जा रही यात्रियों से खचाखच बस में उस वक्त चीख़ पुकार मच गई जब ड्राइविंग सीट पर बैठा चालक अचानक स्टेयरिंग पर बेहोश हो गया और सड़क पर बस तेज रफ्तार से दौड़ती रही. इस दौरान बस में सफर कर रहे सीआईएसएफ के असिस्टेंट कमांडेंट ने बिना एक पल गंवाए चालक को स्टेरिंग से हटाकर बस पर नियंत्रण किया और बस को साइड में रोक दिया. उसके बाद बस में मौजूद यात्रियों ने राहत की सांस ली वहीं यात्रियों का आरोप है कि बस का चालक और कंडक्टर दोनों नशे की हालत में थे मौके पर पहुंची पुलिस ने चालक पर मुकदमा दर्ज कर लिया है साथ ही बस को भी कब्जे में लेकर आगे की कार्रवाई शुरू कर दी है।
प्राप्त हो रही जानकारी के मुताबिक उत्तराखंड परिवहन निगम UTC की बस यूके-04-पीए-1928 में सवार यात्रियों के मुताबिक सोमवार दोपहर बस हल्द्वानी रोडवेज स्टेशन से दिल्ली के लिए निकली थी। 55 सीटर बस में 55 से अधिक सवारी थी। हल्द्वानी में ही बस चालक ने एक दुकान के पास बस रोकी और कुछ सामान लिया। जिसके बाद हल्द्वानी से बस रुद्रपुर की ओर आ गई। टांडा जंगल स्थित नैनीताल रोड पर अचानक बस अनियंत्रित हो गई और 100 की स्पीड से सड़क पर दौड़ने लगी। साथ ही बस का चालक भी स्टेयरिंग पर बेहोश हो गया।
इससे बस टांडा जंगल नैनीताल रोड पर अनियंत्रित हो गई। चालक के स्टेयरिंग पर लेट जाने और तेज रफ्तार अनियंत्रित बस से उसमें सवार यात्रियों के होश उड़ गए। बस में चीख पुकार मचनी शुरू हो गई। यह देख बस में सवार असिस्टेंट कमांडेंट सीआइएसएफ सोनू शर्मा अपनी सीट से उठे और चालक की सीट तक पहुंचे। इस दौरान उन्होंने कंडक्टर और अन्य यात्रियों की मदद से पहले चालक को सीट से हटाया।
इसके बाद असिस्टेंट कमांडेंट से खुद चालक की सीट संभाली और बस में नियंत्रण करते हुए उसे सड़क किनारे रोक दी। जिसके बाद डरे सहमे यात्री एक के बाद एक बस से उतर आए। बाद में सूचना पर उत्तराखंड रोडवेज के अधिकारी और कर्मचारियों के साथ ही पुलिस भी पहुंच गई। लोगों ने चालक और कंडक्टर का मेडिकल कराने की मांग की। जिस पर पंतनगर थाना पुलिस ने यात्रियों को कार्रवाई का आश्वासन दिया। जिसके बाद मौके पर पहुंची रोडवेज की दूसरी बस से यात्री दिल्ली के लिए रवाना हो गए।