उत्तराखंड सरकार ने शासकीय अधिवक्ताओं की कार्यप्रणाली पर सख्त रुख अपनाया है। अब कोई भी सरकारी वकील कोर्ट में सहमति (Consent) देगा, तो उसे यह स्पष्ट करना होगा कि उसने यह सहमति किन तथ्यों और आधारों पर दी है। यह फैसला इसलिए लिया गया है क्योंकि कई मामलों में बिना आधार की सहमति के चलते सरकारी पक्ष कमजोर पड़ गया और सरकार को हार का सामना करना पड़ा।
