देहरादून: उत्तराखंड सरकार अब वाहन प्रदूषण कम करने के लिए 10 साल पुराने डीजल वाले कमर्शियल वाहनों को बाहर करने की तैयारी में है। इस फैसले से प्रदेश के हजारों लोग के ऊपर मुसीबत की गाज गिर गई है।
लेकिन उन्हें राहत देने के लिए सरकार ने एक बड़ा कदम उठाया है। प्रदेश में इलेक्ट्रिक गाड़ियों की खरीद पर 30 फीसदी तक सब्सिडी दी जाएगी। परिवहन मंत्री चंदन रामदास द्वारा यह जानकारी एक कार्यक्रम में दी गई । मंगलवार को परिवहन मंत्री ने आरटीओ कार्यालय में वाहन जनित प्रदूषण एवं देहरादून में परिवहन व्यवस्था का भविष्य विषय पर हुए सेमिनार का शुभारंभ किया। इस मौके पर परिवहन मंत्री ने कहा कि उत्तराखंड सरकार का मकसद किसी को बेरोजगार करना नहीं है। नैनो योजना के तहत इलेक्ट्रिक वाहन की खरीद पर 25 से 30 फीसदी तक सब्सिडी देने पर विचार किया जा रहा है।
नए कमर्शियल इलेक्ट्रिक वाहन खरीदने पर एमएसएमई के तहत पीएम स्वरोजगार योजना, सीएम स्वरोजगार योजना और नैनो योजना में 25 से 30 फीसदी तक की सब्सिडी दी जाएगी। वाहन प्रदूषण रोकने के लिए सुप्रीम कोर्ट, हाईकोर्ट और एनजीटी ने 10 साल पुराने डीजल वाहनों को बाहर करने के आदेश दिए हैं, जिसका पालन किया जा रहा है। जो भी लोग इस निर्णय से प्रभावित हो रहे हैं, उनको राहत देने पर विचार किया जा रहा है। परिवहन मंत्री ने चारधाम यात्रा की तैयारियों पर भी बात की। उन्होंने कहा कि 23 साल में पहली बार रोडवेज घाटे से उबरा है। चारधाम यात्रा से पहले रोडवेज 100 नई बसें खरीदेगा। 200 सीएनजी बसों के टेंडर हो चुके हैं। साथ ही 60 इलेक्ट्रिक बसें भी खरीदी जा रही हैं।