देहरादून : राजधानी देहरादून से चौंकाने वाला मामला सामने आया है। जहां एक विक्रम चालक ने महिला पुलिस कर्मी को रौंदने का प्रयास किया।
आपको बता दें ट्रैफिक नियमों को ताक पर रखकर चलने वाला एक विक्रम चालक इतना “निडर” निकला कि ट्रैफिक ड्यूटी में तैनात महिला सिपाही पर ही विक्रम चढ़ाने को दौड़ पड़ा। गनीमत रही कि महिला सिपाही की सतर्कता ने एक बड़ी अनहोनी को होने से रोक दिया, वरना शहर एक और दर्दनाक घटना का गवाह बन जाता।


जानकारी के अनुसार, ट्रैफिक नियंत्रण का जिम्मा महिला कांस्टेबल रेशमा के पास था। बीते कुछ दिनों से वह विक्रम चालकों द्वारा लेफ्ट टर्न पर फर्जी कब्जे की शिकायतों पर कार्रवाई कर रही थीं — यानी बस अपनी नौकरी!
तीन नवंबर को उन्होंने विक्रम संख्या 1742 को नो पार्किंग से हटवाया तो चालक का “अहंकार” फूट पड़ा। जाते-जाते वह रेशमा को धमकी देकर गया —
“तुझे मैं कल का सूरज नहीं देखने दूंगा।”
किसी फिल्मी खलनायक वाली डायलॉगबाजी!
रेशमा ने इस धमकी को गंभीरता से नहीं लिया, लेकिन चालक ने इसे “चैलेंज” समझ लिया। अगले ही दिन यानी 4 नवंबर को वह दोबारा तहसील चौक पहुंचा और विक्रम को तेजी से महिला सिपाही की ओर बढ़ा दिया। रेशमा समय रहते पीछे न हटतीं तो नतीजे सबसे खतरनाक हो सकते थे।
मौके पर मौजूद पुलिसकर्मियों ने आरोपी को पकड़ने की कोशिश की, मगर चालक फरार होने में सफल रहा — आखिर कानून से तेज चलना उसका “टैलेंट” है।
घटना की सूचना मिलते ही वरिष्ठ अधिकारी सक्रिय हुए।
एसपी ट्रैफिक लोकजीत सिंह ने बताया कि आरोपी की पहचान हो चुकी है और उसके खिलाफ शहर कोतवाली में मुकदमा दर्ज कर लिया गया है। उनका कहना है—
“महिला कर्मियों की सुरक्षा से समझौता नहीं होगा। जो लोग ट्रैफिक व्यवस्था बिगाड़ने या पुलिसकर्मियों से अभद्रता करेंगे, उनके खिलाफ कड़ी कार्रवाई होगी।”
शहर कोतवाल प्रदीप पंत ने पुष्टि की कि पुलिस आरोपी की तलाश में जुट गई है।
यह घटना शहर की ट्रैफिक व्यवस्था पर बड़ा सवाल खड़ा करती है—
जब सड़क पर कानून लागू कराने वाली महिला सिपाही की जान सुरक्षित नहीं, तो आम जनता की सुरक्षा की उम्मीद किससे की जाए?










