देहरादून: उत्तराखंड कैबिनेट मंत्री डॉक्टर धन सिंह रावत (dhan Singh Rawat) ने कहा कि उत्तराखंड के कैडर सचिवों को राजस्व के पटवारी जैसी हैसियत व पावर दी जाए।
उत्तराखंड के सहकारिता मंत्री डॉ धन सिंह रावत (dhan Singh Rawat) के निर्देश पर कैडर सचिवों की इन दिनों नियमावली बन रही हैं।
सहकारी समिति में तैनात सचिव उत्तर प्रदेश के ही नियमों पर काम कर रहे हैं। उत्तराखंड को बने हुए 22 साल से अधिक हो गए हैं। मौजूदा कॉपरेटिव मिनिस्टर डॉ रावत पहले मिनिस्टर हैं जिन्होंने कैडर सचिवों की नियमावलियां की आवश्यकता महसूस की है। उन्होंने पिछले पांच साल में हर समीक्षा बैठक में उत्तर प्रदेश की चली आ रही व्यवस्था से हटाकर कैडर सचिवों की नई नियमावली बनाने के निर्देश दिए थे।
उत्तराखंड के कैडर सचिवों का संगठन लगातार नई नियमावली बनाने का विरोध कर रहा है।उन्होंने आंदोलन भी किए हैं। लेकिन इस बार डॉ रावत (dhan Singh Rawat) नई नियमावली बनाने के लिए संकल्पबद्ध हैं। मंत्री डॉ रावत (dhan Singh Rawat) कैडर सचिवों को राजस्व के पटवारी जैसी हैसियत व पावर देना चाहते हैं।
राज्य में 670 एमपैक्स हैं। गांव में खाद, बीज , ऋण, कृषि, उद्यान, मछली, भेड़ बकरी, शहद, अदरक, मशरूम के बीज इन्हीं के माध्यम से ग्रामीणों तक पहुँचते हैं। और पर्वतीय क्षेत्रों से पहाड़ी प्रोडक्ट राजमा, लाल चावल, दालें इत्यादि समितियों के माध्यम से ग्रामीणों को उचित दाम देकर यूसीएफ खरीदता है। और फिर उन प्रोडक्ट्स को यूसीएफ महानगरों में बेचता है। न्याय पंचायत स्तर पर सहकारिता का यह मजबूत आधार है। जिसकी पहुँच गांव और वहाँ रह रहे लोगों तक सीधी हैं।
उत्तराखंड सहकारिता विभाग की न्याय पंचायत स्तर पर बहुउद्देश्यीय सहकारी समितियों में सचिवों की नियमावली कैसी हो, इसके लिए सहकारिता विभाग ने सुझाव भी आमंत्रित किए हैं सहकारिता मंत्री डॉक्टर धन सिंह रावत (dhan Singh Rawat) के निर्देश पर रजिस्ट्रार आलोक कुमार पांडेय ने इसके लिए 15 दिन का समय दिया था। इसमें काफी सुझाव रजिस्ट्रार कार्यालय देहरादून में पहुंच चुके हैं। रजिस्ट्रार पांडेय ने सुझाव आमंत्रण के लिए एक सप्ताह का और समय बढ़ा दिया गया था।
ताकि यह नियमावली मुक्कमल और ठोस बनाई जा सके। इसी माह 27 जुलाई को वह समय अवधि भी पूरी हो जाएगी गांव स्तर पर कैडर सचिव मजबूत हो, इसके लिए काम किया जा रहा है। कैडर सचिव नियमावली बन जाने से कैडर सचिवों की पदोन्नति , स्थानांतरण, नियुक्ति में पारदर्शिता आएगी।