देहरादून में आए कोविड संक्रमण के दो नए मामलों के साथ, जनसंख्या को सतर्क रहने की आवश्यकता है। जेएन. 1 वेरिएंट की पहचान के लिए दोनों मरीजों के सैंपल को जिनोम सीक्वेंसिंग के लिए भेजा जा रहा है, जिससे नए वेरिएंट की चेन तय की जा सकती है।
दूसरे दिन कोविड के एक और मरीज की रिपोर्ट आई है और उन्हें दून अस्पताल में भर्ती किया गया है। इससे कोविड के मरीजों की संख्या में वृद्धि हो रही है। उन मरीजों की आयु 70 साल के पार है।
इसके अलावा, देहरादून में एक आठ साल के बच्चे को सीजनल इंफ्लुएंजा की शिकार हो गया है। चिकित्सकों का कहना है कि कोविड और सीजनल इंफ्लुएंजा के लक्षण मिलते जा रहे हैं, जिससे इन्फेक्शन की पहचान करना चुनौतीपूर्ण हो रहा है।
दून अस्पताल के एमएस डॉ. अनुराग अग्रवाल ने बताया कि कोविड संक्रमित महिला की स्थिति गंभीर नहीं है, लेकिन उन्हें जनरल आइसोलेशन में इलाज दिया जा रहा है और जीनोम सीक्वेंसिंग के लिए उनका सैंपल भी लिया जा रहा है।
जिला सर्विलांस अधिकारी डॉ. सीएस रावत ने बताया कि इंफ्लुएंजा के संदिग्ध मरीजों की जांच हुई है और उनमें एक आठ साल के बच्चे की रिपोर्ट पॉजिटिव आई है, लेकिन उचित इलाज के बाद उसे अस्पताल में भर्ती नहीं किया गया है।
ओस्वास्थ्य अधिकारियों का कहना है कि महसूस होने वाले लक्षणों के बावजूद, लोगों को चिकित्सक सलाह और संरक्षण की अधिक आवश्यकता है। जीनोम सीक्वेंसिंग से आने वाले डेटा से नए कोविड वेरिएंट की सही पहचान होगी और स्वास्थ्य प्रणाली को बेहतर साजगर करने में इनमदद करेगी।