अपराध: महज 130 रूपये के लिए दोस्त बना कातिल, चाकू से गोदकर कर डाली निर्मम हत्या..
हस्तक्षेप: पुलिस टीम ने आसपास के सीसीटीवी खंगाले। मामले में साजिद पुत्र अब्दुल गफ्फार, निवासी इस्लामनगर रुड़की को कलियर से गिरफ्तार किया। आरोपी ने बताया कि बताया कि गुड्डू ने मारपीट कर उसके 130 रुपये ले लिए थे।एक व्यक्ति ने अपने दोस्त को सिर्फ 130 रुपये के लिए खौफनाक मौत की सजा दी।
मामूली विवाद के बाद आठ बार चाकू से मुंह, पेट और छाती पर वार कर मर्डर कर दिया था। पुलिस ने हत्यारोपी को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया। गुड्डू हत्याकांड का खुलासा कर पुलिस ने सोमवार को आरोपी दोस्त को गिरफ्तार कर लिया। पुलिस का दावा है कि 130 रुपये छीनने के विवाद में गुडूडू का कत्ल किया गया।रुड़की कोतवाली में एसएसपी प्रमेंद्र डोबाल ने पत्रकार वार्ता में मामले का खुलासा किया। बताया कि पांच मई की सुबह पुरानी गंगनहर के पुल के नीचे 35 वर्षीय नितिन उर्फ गुड्डू, निवासी पश्चिमी अंबर तालाब का खून से सना शव मिला था।
मृतक के भाई गौरव की तहरीर पर अज्ञात के खिलाफ हत्या का मुकदमा दर्ज किया था।पुलिस टीम ने आसपास के सीसीटीवी खंगाले। मामले में साजिद पुत्र अब्दुल गफ्फार, निवासी इस्लामनगर रुड़की को कलियर से गिरफ्तार किया। पुलिस पूछताछ में आरोपी ने बताया कि बताया कि गुड्डू ने मारपीट कर उसके 130 रुपये छीन लिए थे। साजिद के पास सब्जी काटने वाला चाकू था। जिससे गोदकर उसने गुड्डू की हत्या कर दी। पुलिस टीम में इंस्पेक्टर आरके सकलानी, वरिष्ठ उप निरीक्षक अभिनव शर्मा, उप निरीक्षक नितिन बिष्ट, शशि भूषण जोशी, हेड कांस्टेबल इसरार, नूर हसन, विपिन, मनमोहन भंडारी शामिल रहे।
साजिद काट चुका तीन साल की सजा
पुलिस पूछताछ में साजिद ने बताया कि वह नशा करता है। 2018 में गंगनहर कोतवाली में उसके खिलाफ कुकर्म का मुकदमा दर्ज किया गया था। मुकदमे में तीन साल की जेल काटी थी। हत्यारोपी का आपराधिक इतिहास रहा है।सीसीटीवी से मिली पहली लीड
हत्याकांड को सुलझाने में पुलिस को खासी मशक्कत करनी पड़ी। घटनास्थल और आसपास के सीसीटीवी खंगालने गए। इस बीच सिटी पब्लिक स्कूल के पास एक घर के कैमरे में साजिद और गुड्डू एक साथ जाते हुए दिखाई दिए थे। शक्ल, कद काठी से दोनों की तस्वीर साफ हो गई। आरोपी की पहचान होने पर साजिद की तलाश शुरू की गई।
हत्या के बाद नए कपड़े खरीदे
हत्याकांड को अंजाम देने के बाद बाद साजिद अपने घर नहीं लौटा। वह रुड़की से कलियर, ज्वालापुर और बहादराबाद गया। साजिद ने बहादराबाद में नए कपड़े खरीदे। वह करीब पंद्रह दिन तक पुलिस को चकमा देता रहा।सुनसान इलाकों में गुजरा था रात
पुलिस को साजिद की लोकेशन तलाशने में पसीना बहाना पड़ा। साजिद फोन का इस्तेमाल नहीं करता है। मुखबिर तंत्र को पुलिस ने सतर्क किया। पुलिस से बचने के लिए साजिद सुनसान जगह पर रात बीतता था। वो अधिकतर उन रास्तों का इस्तेमाल करता था जहां पर लोगों की चहल-पहल भी बेहद कम हो। लेकिन आखिर वह पुलिस के हत्थे चढ़ गया।साजिद के पीछे लगी पांच टीम
जिस जगह हत्याकांड को अंजाम दिया गया, वह बेहद सुनसान इलाका है। पुलिस के लिए हत्या की वजह जानना और हत्यारे तक पहुंचाना मुश्किल होने लगा था। सोत बी चौकी प्रभारी नितिन बिष्ट के नेतृत्व में एक टीम लगातार जांच कर रही थी। पूरणनाथ मंदिर के पास से एक रास्ता सोलानी नदी के पास जाता है। वहीं से महत्वपूर्ण लीड पुलिस के हाथ लगी थी। फिर हत्यारोपी की पहचान होने के बाद गिरफ्तारी के लिए पांच टीमों का गठन कर दिया गया।